Chath Puja 2023:जानिए छठ पूजा का अनुष्ठान कैसे करें? इन नियमों को भूलकर भी नजरअंदाज न करें। - Bhajan Sangrah
GaanaGao1 year ago 136हिन्दू पंचांग के अनुसार कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष के चतुर्थी से सप्तमी तिथि तक छठ महाव्रत मनाया जाता है। इसमें भगवान सूर्यदेव की पूजा होती है। इस बार छठ पूजा 19 नवंबर, 2023 को है। छठ व्रत खासतौर पर पुत्र प्राप्ति के लिए किया जाता है।
छठ व्रत कथा
दिवाली के 6 दिन बाद छठ मनाया जाता है। छठ के महाव्रत को करना अत्यंत पुण्यदायक है। छठ व्रत सबसे महत्त्वपूर्ण रात्रि कार्तिक शुक्ल षष्ठी तिथि को होता है। सूर्योपासना का यह महापर्व चार दिनों तक मनाया जाता है। छठ पर्व के लिए कई कथाएं प्रचलित हैं, किन्तु पौराणिक शास्त्रों में इसे देवी द्रोपदी से जौड़कर देखा जाता है।
मान्यता है कि जब पांडव जुए में अपना सारा राजपाट हार गए, तब द्रौपदी ने छठ का व्रत रखा था। द्रोपदी के व्रत के फल से पांडवों को अपना राजपाट वापस मिल गया था। इसी तरह छठ का व्रत करने से लोगों के घरों में समृद्धि और सुख आता है। छठ मुख्य रूप से बिहार, झारखंड, उत्तरप्रदेश सहित कई क्षेत्रों में छठ का महत्व है।
छठ पूजा या सूर्य षष्ठी या छठ व्रत में सूर्य भगवान की पूजा होती है और धरती पर लोगों के सुखी जीवन के लिए सूर्य देव के प्रति आभार व्यक्त किया जाता है। सूर्य देव को ऊर्जा और जीवन शक्ति का देवता माना जाता है। इसलिए छठ पर्व पर समृद्धि के लिए पूजा की जाती है।
सूर्य की पूजा से विभिन्न बीमारियों का इलाज संभव है। सूर्य पूजा के साथ स्नान किया जाता है। इससे कुष्ठ रोग जैसी गंभीर रोग भी दूर हो जाते हैं। छठ पर्व परिवार के सदस्यों और मित्रों की लंबी उम्र और समृद्धि के लिए भी मनाया जाता है।
छठ 2023 कैलेंडर (Chhath 2023 Calendar)
नहाय खायए - 17 नवंबर 2023
खरना - 18 नवंबर 2023
अस्तगामी सूर्य को अर्घ्य - 19 नवंबर 2023
उदयीमान सूर्य को अर्घ्य - 20 नवंबर 2023
छठ व्रत पूजा विधि
छठ देवी भगवान सूर्यदेव की बहन हैं। जिनकी पूजा के लिए छठ मनाया जाता है। छठी मैया को प्रसन्न करने के लिए भगवान सूर्य की आराधना की जाती है। छठी मैया का ध्यान करते हुए लोग मां गंगा-यमुना या किसी नदी के किनारे इस पूजा को मनाते हैं। इसमें सूर्य की पूजा अनिवार्य है साथ ही किसी नदी में स्नान करना भी।
इस पर्व में पहले दिन घर की साफ सफाई की जाती है। छठ पर्व पर गांवों में अधिक सफाई देखने को मिलती है। छठ के चार दिनों तक शुद्ध शाकाहारी भोजन किया जाता है, दूसरे दिन खरना का कार्यक्रम होता है, तीसरे दिन भगवान सूर्य को संध्या अर्घ्य दिया जाता है और चौथे दिन भक्त उदियमान सूर्य को उषा अर्घ्य देते हैं।
छठ के दिन अगर कोई व्यक्ति व्रत को करता है तो वह अत्यंत शुभ और मंगलकारी होता है। पूरे भक्तिभाव और विधि विधान से छठ व्रत करने वाला व्यक्ति सुखी और साधनसंपन्न होता है। साथ ही निःसंतानों को संतान प्राप्ति होती है।
पूजा के लिए जरूरी सामान
ऐसी मान्यता है कि जो कोई छठ पर्व को पूरे विधि-विधान से करता है, उसकी हर मनोकामना सूर्य देव पूरी करते हैं. आज हम आपको छठ पूजा की पूरा विधि और पूजा में लगने वाले जरूरी समान के बारे में बताएंगे ताकि आप अपनी पूजा अच्छे से संपन्न कर पाएं. छठ पूजा बांस की टोकरी, सूप, नारियल, गन्ना, अक्षत, सिंदूर, धूप, दीप, थाली, लोटा, नए वस्त्र, नारियल, अदरक का हरा पौधा, पत्ते के साथ हल्दी, चना, मौसमी फल, कस्टर्ड, अनानास कलश (मिट्टी या पीतल का) , कुमकुम, पान, सुपारी आदि चीजें लगती हैं.
छठ पूजा में सफाई-स्वछता का पूरा ध्यान दिया जाता है. प्रसाद तैयार करने से लेकर दौरा तैयार करने तक ध्यान रखें कि आपसे कोई चीज भूल से ना छूटे और जिस भी चीज की इस्तेमाल करें वो कोरी (नई) हो. इन नियमों का करें पालन.
- जहां भी पूजा का प्रसाद तैयार करें वो जगह साफ हो
- कोशिश करें प्रसाद चूल्हे पर बनाएं, अगर सुविधा ना हो तो गैस पर भी बना सकते हैं.
- छोटे बच्चों को पूजा का कोई भी सामान छूने ना दें.
- जब तक पूजा पूरी नहीं हो जाती किसी को प्रसाद ना दें.
- छठ पूजा के समय व्रती या परिवार के सदस्यों के साथ कभी भी अभद्र भाषा में बात ना करें.
- व्रत रखने वाली महिलाएं इन चार दिन पलंग या चारपाई पर न सोएं. जमीन पर ही कपड़ा बिछाकर सोएं.
- छठ पर्व के दौरान व्रती समेत पूरे परिवार सात्विक भोजन ग्रहण करे.
- पूजा की किसी भी चीज को छूने से पहले हाथ अवश्य साफ कर लें.
- ध्यान रहे कि सूर्य भगवान को जिस बर्तन से अर्घ्य दे रही हैं, वो चांदी, स्टेनलेस स्टील, ग्लास या प्लास्टिक का नहीं होना चाहिए.
- प्रसाद बनाते वक्त कुछ खाना नहीं चाहिए. पूजा के समय हर किसी को साफ-सुथरे कपड़े पहनने चाहिए.
Singer - Bhajan Sangrah
और भी देखे :-
- सबका सहारा श्याम खाटू
- तेरी गोद में सर है मैया (Teri God Me Sar Hai Maiya)
- Mujh Ko Do Pal Maiya Ke Charnon Mein Rehne Do Lyrics. मुझ को दो पल मैया के चरणों में रहने दो लिरिक्स |
- Ganesh Ji Ki Kahani : गणेश जी बने भक्त के घर नौकर (Ganesh Ji Bane Bhakt ke Ghar Naukar Story)
- रामायण चौपाई
- अच्चुतम केशवं (Achyutam Keshavam lyrics in Hindi and English)
- पालकी ये दिल की (Palki Ye Dil Ki)
- जय गणेश जय गणेश देवा (Jai Ganesh Jai Ganesh Deva)
- उसका दुश्मन क्या कर सकता
- जगत है रैन का सपना (Jagat Hai Rain Ka Sapna)
अगर आपको यह भजन अच्छा लगा हो तो कृपया इसे अन्य लोगो तक साझा करें।